नई दिल्ली । भारत की अंतरिक्ष एजेंसी इसरो ने चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुवीय क्षेत्र के पास उतारे गए रोवर प्रज्ञान और लैंडर विक्रम के साथ संचार फिर से स्थापित करने के लिए प्रयास किए, ताकि उनकी वेक-अप कंडीशन का पता लगाया जा सके। रोवर और लैंडर को स्लीप मोड में डाल दिया गया था। लूनर नाइट होने के बाद दो सितंबर को उन्हें सुरक्षित रूप से पार्क किया गया था। चंद्रमा पर एक दिन पृथ्वी पर 14 दिनों के बराबर होता है।
इसरो ने चंद्रयान-3 मिशन पर अपने अपडेट में कहा, उनसे कोई सिग्नल नहीं मिला है। संपर्क स्थापित करने के प्रयास जारी रहेंगे। रोवर और लैंडर को क्रमशः दो और चार सितंबर को स्लीप मोड में डाल दिया गया था।
मिशन के निर्देशों के अनुसार, जैसे ही सुबह होगी और सूरज की रोशनी चंद्रमा के दक्षिण-ध्रुवीय क्षेत्र पर वापस आएगी, लैंडर और रोवर के सौर पैनलों के जल्द ही अधिकतम जररूत के अनुसार चार्ज होने की उम्मीद है। इसरो उन्हें रिवाइव करने और उनकी हेल्थ व कार्यक्षमता की जांच करने की कोशिश करेगा।