सुरेश श्रीवास्तव, कवर्धा
कवर्धा।
अखिल विश्व गायत्री परिवार शांतिकुंज हरिद्वार के तत्वावधान में 4 दिवसीय आवासीय कन्या कौशल शिविर का आयोजन 23 से 26 दिसंबर तक अग्रसेन भवन कवर्धा में किया गया है। शिविर में विवाहित व अविवाहित दोनों महिलाएं भाग लेकर भारतीय संस्कृति और संस्कार की धनी हो सकती हैं। इक्कीसवी सदी, नारी सदी कहा गया है।
आयोजन समिति के अनुसार धर्म एवं संस्कृति से जुड़े परिवारजन अपने घरों की कन्याओं व महिलाओं को शिविर में भेजकर उन्हें सुसंस्कारी, संस्कृति निष्ठ,
सामाजिक क्षेत्र में प्रखर प्रतिभाशाली बना सकते हैं। इसके लिए 50 रुपए शुल्क के साथ पंजीयन कराना अनिवार्य बताया गया है। युग ऋषि वेद मूर्ति गुरूदेव पंडित श्रीराम शर्मा आचार्य ने घोषणा किया है कि आने वाली सदी नारी सदी होगी। वर्तमान समय में सभी क्षेत्रों में नारी की सहभागिता ही नहीं नेतृत्व भी होगा। आज की नारी अपने व्यक्तित्व का समग्र विकास कर पारिवारिक सामाजिक एवं अन्य क्षेत्रों में महत्वपूर्ण कार्य करेगी। इस भौतिक वादी युग में कन्याएं अनेक व्यक्तिगत, मनोवैज्ञानिक, शैक्षणिक तनाव व दबाव से भी घिरी हुई है। अनेक भ्रम व भटकाव की स्थिति भी है। ऐसे में व्यक्तिगत जीवन में जटिलता व इक्कीसवीं
सदी में नेतृत्व की स्थिति में आने हेतु उन्हें समग्र मार्गदर्शन की आवश्यकता है।
आज की कन्या शारीरिक, मानसिक, बौद्धिक व समग्र प्रशिक्षण द्वारा अपने पारिवारिक दायित्वों को पूरा करते हुए किस प्रकार जीवन पथ पर आगे बढ़ते बढ़ सकती है, अपने पुरातन शक्ति स्वरूप की पहचान करके, परिवार और समाज को अपनी दैवी क्षमताओं से अनुग्रहित कर सकती है, इन बिन्दुओं पर केंद्रित
कन्या कौशल शिविर का एक अनूठा आयोजन गायत्री परिवार द्वारा युग ऋषि के सूक्ष्म संरक्षण में होने जा रहा है।
शिविर के मुख्य आकर्षण –
1. प्रातः योगासन, ध्यान, प्राणायाम,
2. बुद्धि बढ़ाने की वैज्ञानिक विधि,
3. जीवन लक्ष्य एवं करियर निर्माण,
4. जीवन का आदर्श कौन हो,
5. जीवन ऊर्जा का संरक्षण व नारी स्वास्थ्य,
6. सफलता के सूत्र,
7. प्रभावशील व्यक्तित्व का निर्माण के सूत्र,
8. विविध खेल,
9. परीक्षा में अच्छे अंक प्राप्त कैसे
करें ?
10 परिवार व समाज निर्माण में नारी की भूमिका,
11. वीडियो, टेली फिल्म द्वारा शिक्षण
होगा,
12. सभी कक्षाएं पावर पॉइंट प्रेजेंटेशन के माध्यम से होगी।
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