Home खास खबर नारी शक्ति वंदन विधेयक लोकसभा में पेश

नारी शक्ति वंदन विधेयक लोकसभा में पेश

by Surendra Tripathi

भारतीय लोकतंत्र के लिए आज का दिन ऐतिहासिक रहा है। आज संसद की कार्यवाही पुराने भवन से नए भवन में स्थानांतरित हुई है। सोमवार को पुराने भवन में आखिरी दिन की कार्यवाही थी जिसमें उसके इतिहास पर चर्चा की गई थी। आज के दिन की शुरुआत नए संसद भवन में स्थानांतरित होने से कुछ घंटे पहले सामूहिक तस्वीर खिंचवाने के साथ हुई जिसमें राज्यसभा और लोकसभा के सदस्य पुराने संसद भवन के भीतरी प्रांगण में एकत्रित हुए। इसके बाद सेंट्रल हॉल में एक कार्यक्रम हुआ जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, राज्यसभा के सभापति और उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़, लोकसभा के स्पीकर ओम बिरला, संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी, राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे और नेता सदन पीयूष गोयल ने संबोधित किया। इसके बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सांसदों ने नई संसद भवन का रुख किया। सभी के हाथों में संविधान की प्रति थी। इस दौरान कुछ उत्साहित सांसदों ने नारे भी लगाए। सरकार ने संसद के निचले सदन, राज्य विधानसभाओं और दिल्ली विधानसभा में महिलाओं को एक तिहाई आरक्षण प्रदान करने से संबंधित ऐतिहासिक ‘नारीशक्ति वंदन विधेयक’ को मंगलवार को लोकसभा में पेश कर दिया। विधि एवं न्याय मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) अर्जुनराम मेघवाल ने विपक्ष के शोर-शराबे के बीच ‘संविधान (एक सौ अट्ठाईसवां संशोधन) विधेयक, 2023’ पेश किया। इस विधेयक को पूरक सूची के माध्यम से सूचीबद्ध किया गया था।  नये संसद भवन में पेश होने वाला यह पहला विधेयक है। मेघवाल ने विधेयक पेश करते हुए कहा कि यह महिला सशक्तीकरण से संबंधित विधेयक है और इसके कानून बन जाने के बाद 543 सदस्यों वाली लोकसभा में महिला सदस्यों की संख्या मौजूदा 82 से बढ़कर 181 हो जाएगी। उन्होंने कहा कि इसके पारित होने के बाद विधानसभाओं में भी महिलाओं के लिए 33 प्रतिशत सीट आरक्षित हो जाएंगी। उन्होंने कहा कि विधेयक में फिलहाल 15 साल के लिए आरक्षण का प्रावधान किया गया है और संसद को इसे बढ़ाने का अधिकार होगा।

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